सीटू का देश की महिला पहलवानों के समर्थन में 18 मई को जिला मुख्यालयों में प्रदर्शन करने का एलान

शिमला

सीटू, हिमाचल किसान सभा, जनवादी महिला समिति, डीवाईएफआई, एसएफआई व दलित शोषण मुक्ति मंच की हिमाचल प्रदेश राज्य कमेटियों ने देश की पहलवान फेडरेशन अथवा कुश्ती महासंघ में कुछ अधिकारियों द्वारा किये जा रहे यौन उत्पीड़न व केन्द्र में भाजपा सरकार के अहंकारी रवैये के खिलाफ तथा हमारे देश की महिला पहलवानों के समर्थन में 18 मई 2023 को हिमाचल प्रदेश के जिला मुख्यालयों में प्रदर्शन करने का निर्णय लिया गया है।

सीटू प्रदेशाध्यक्ष विजेंद्र मेहरा, महासचिव प्रेम गौतम, हिमाचल किसान सभा अध्यक्ष डॉ कुलदीप सिंह तंवर, सचिव होतम सौंखला, महिला समिति अध्यक्षा डॉ रीना तंवर, सचिव फालमा चौहान, डीवाईएफआई अध्यक्ष सुरेश सरवाल, सचिव चंद्रकांत वर्मा, एसएफआई अध्यक्ष रमन थारटा, सचिव अमित ठाकुर, दलित शोषण मुक्त मंच संयोजक जगत राम व सह संयोजक आशीष कुमार ने कहा है कि भारत के पहलवानों की फेडरेशन अथवा कुश्ती महासंघ में कुछ अधिकारियों द्वारा अत्याचार, यौन उत्पीड़न और दमन के खिलाफ दिल्ली में अंतर्राष्ट्रीय पुरस्कार विजेताओं सहित हमारी महिला पहलवानों द्वारा किए जा रहे संघर्ष और उस पर केन्द्र में भाजपा सरकार के अहंकारी रवैये ने पूरे देश का ध्यान आकर्षित किया है। देश की जनता के विभिन्न संगठनों द्वारा इस मामले की गम्भीरता को समझते हुए इस संदर्भ में देशव्यापी प्रदर्शन किए गए हैं।

उन्होंने कहा कि महिला पहलवानों के संघर्ष के साथ पूर्ण समर्थन और एकजुटता को दोहराते हुए 18 मई 2023 को देशव्यापी संयुक्त लामबंदी और विरोध कार्यक्रमों के आह्वान के तहत हिमाचल प्रदेश के सभी जिला मुख्यालयों में प्रदर्शन आयोजित करने का निर्णय लिया गया है। ये विरोध कार्यक्रम धरना, जुलूस, कैंडल मार्च, प्रदर्शन आदि के रूप में होंगे। इन प्रदर्शनों के माध्यम से सम्बन्धित महिला पहलवानों की यातनाओं और यौन उत्पीड़न के खिलाफ भाजपा सरकार के अभिमानी रवैये और संरक्षण को उजागर किया जाएगा और साथ ही दोषियों, जिसमें केंद्र की सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी का एक सांसद भी है, के खिलाफ कुश्ती महासंघ के पदों से हटाये जाने सहित तत्काल कठोर दंडात्मक कार्रवाई की माँग की जाएगी। उन्होंने इस सारे मामले पर केंद्र सरकार व प्रधानमंत्री की चुप्पी पर हैरानी व्यक्त की है। उन्होंने कहा कि इस से मोदी सरकार की महिला विरोधी मानसिकता का पता चलता है। उन्होंने कहा कि बेटी बचाओ, पेटी पढ़ाओ, महिला सशक्तिकरण व नारी उत्थान के दावे करने व ढिंढोरा पीटने वाली मोदी सरकार की इस मामले में पूरी पोल खुल गयी है। इस से मोदी सरकार व उसके चहेतों का चेहरा पूर्णतः बेनकाब हो गया है। उन्होंने चेताया है कि अगर महिला पहलवानों को न्याय न मिला व उनके उत्पीड़न, शोषण, यातनाओं पर कठोर कार्रवाई न हुई तथा दोषियों को कड़ी सज़ा न मिली तो जनता बड़ी लामबन्दी की ओर बढ़ेगी।